भारत पाक क्रिकेट – चैनल और सोशल मीडिया का बेसुरा राग !

indo pak cricket rivalory

पिछले कुछ दिनों से भारत और पाकिस्तान की टीमों के बीच 24 अक्टूबर को खेले जाए वाले वर्ल्ड कप मुकाबले को ले कर हाय तौबा मची रही। क्रिकेट की आड़ में अपनी दुकानें चमकाने वाले और बे वजह इधर उधर की हांकने वाले टीवी चैनलों ने कुछ दिन तक पकिस्तान को जमकर बुरा भला कहा। भारतीय टीम प्रबंधन और खिलाड़ियों को राष्ट्रवाद का खूब पाठ पढ़ाया। देश के कुछ नेता-मंत्रियों ने तो बिना अपने शीर्ष नेतृत्व से पूछे यहां तक कह डाला कि भारत को वर्ल्ड कप का बहिष्कार कर देना चाहिए। सरकारी वाह वाह पर दुकानें चलाने वाले कुछ एक टीवी चैनलों ने भी बिना सोचे समझे पाकिस्तान को जमकर कोसा और अपने अज्ञान का बखान करते हुए मांग कर डाली कि भारत को वर्ल्डकप में पाकिस्तान के विरुद्ध नहीं खेलना चाहिए।

खैर, यह चैप्टर खतम हो चुका है और दोनों देशों के खिलाड़ी रविवार को खेले जाने वाले मुकाबले के लिए सीमा पर खड़ी फौजों की तरह जोशो खरोश से लबालब हैं। क्रिकेट की आड़ में खोखली लोकप्रियता पाने वालों की तूती बंद हो चुकी है। लेकिन बेकार की हांकने वालों को इतना ज्ञान तो दिया जा सकता है कि वर्ल्डकप का आयोजन भारत(बीसीसीआई) द्वारा किसी तीसरे देश में किया जा रहा है। यह भी बता दें कि भारत या कोई भी देश ऐसे आयोजन से हटने के बारे में सोच भी नहीं सकता। भले ही अधिकांश देश पाकिस्तान की गंदी राजनीति से खफा हैं लेकिन जब तक आईसीसी नहीं चाहता, पाकिस्तान का खेलना नहीं रुक सकता।

बिगुल बज चुका है और दोनों तरफ से एक दूसरे को देख लेने के दावे किए जा रहे है। जीते कोई भी लेकिन वर्ल्डकप का सबसे रोमांचक मैच खेला जाना है, जिसमें दोनों तरफ की टीमेँ अपना श्रेष्ठ देने का दम भर रही है।

इसमें दो राय नहीं कि भारत का पलड़ा भारी है। हर छेत्र में भारतीय खिलाड़ी बीस हैं। लेकिन क्रिकेट जैसे खेल में कुछ भी हो सकता है। कभी कभार एक खिलाड़ी और एक गेंद मैच का रुख बदल डालते हैं। विश्व क्रिकेट की जानी मानी हस्तियां भी भारत को जीत का दावेदार बता रही हैं। फिरभी फैसला तो खिलाड़ियों के प्रदर्शन पर निर्भर है।

लेकिन दोनों देशों के टीवी चैनल और सोशल मीडिया अपने खिलाड़ियों को बढ़ा चढ़ा कर पेश कर रहे हैं। पाकिस्तान का मीडिया कह रहा है कि भारत को हरा कर पाकिस्तान बहुत सी नाराजगियों के हिसाब चुकता करना चाहता है। कुछ टीवी चैनल तो यहां तक कह रहे हैं कि पाकिस्तान अत्यधिक आत्मविश्वास से भरी भारतीय क्रिकेट का घमंड तोड़ने में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहेगा। पाक क्रिकेट विशेषज्ञ यहां तक कह रहे हैं कि भारत के कारण विदेशी टीमों ने पाकिस्तान में खेलना बन्द किया है।

इधर भारतीय चैनल भी दिन रात क्रिकेट का राग अलाप रहे हैं। पाकिस्तान को पहले ही हारा हुआ मान लिया गया है। जो चैनल कुछ दिन पहले तक पाकिस्तान का बायकाट करने की बात कर रहे थे वे अब भारत की एकतरफा जीत का दावा कर रहे हैं।

पिछले कुछ सालों में दोनों देशों के क्रिकेट प्रेमियों में एक बड़ा अंतर यह देखने को मिला है कि अब क्रिकेट के दीवाने पागलपन की हद तक नहीं जाते। हार पर टीवी सेट तोड़ डालने या बीच मैदान में हुड़दंग जैसी घटनाएं भी कम हुई हैं लेकिन अपनी टीम को कोई भी हारते देखना नहीं चाहता। खिलाड़ी और दर्शक सुधरे हैं लेकिन टीवी चैनल और सोशल मीडिया भारत पाक क्रिकेट मैचों को हौव्वा बनाए हैं और झूठी खबरों को बेचने के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं। दोनों तरफ से जहरीले बाउंसर फेंके जा रहे हैं, जिनका आदान प्रदान मैच के फैसले के बाद भी चलता रहेगा।

Rajender Sajwan Rajender Sajwan,
Senior, Sports Journalist
Share:

Written by 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *