NEW DELHI. सीबीएसई ने अगले शैक्षणिक सत्र यानी 2024-25 से स्कूलों में क्रेडिट अंक सिस्टम लागू करने की योजना बनाई है। इसके तहत कक्षा 6 से 12वीं कक्षा में 1200 घंटे की पढ़ाई पूरी करने पर अब छात्रों को 40 क्रेडिट अंक दिए जाएंगे। बता दें कि ये क्रेडिट सभी विषयों में परीक्षा पास करने पर मिलेंगे और ये मार्कशीट में अंक/ग्रेड के सामने दर्ज होगा। साथ ही छात्र के एकेडमिक बैंक ऑफ क्रेडिट (डिजी लॉकर) में भी ये क्रेडिट जमा होते रहेंगे।
अगले सत्र से योजना लागू
अब तक क्रेडिट सिस्टम उच्च शिक्षा में लागू है, जिसके जरिए छात्रों को संस्थान या कोर्स बदलने की सहूलियत होती है। सीबीएसई के एक वरिष्ठ अधिकारी का कहना है कि अगर कोई छात्र वोकेशनल से सामान्य पढ़ाई के बीच एकेडमिक इक्वलिब्रियम (अकादमिक समतुल्यता) का पता लगता है। अगर कोई छात्र वोकेशनल से सामान्य पढ़ाई की ओर या इसके उलट जाना चाहे तो अदला-बदली आसानी से हो सकेगी। यानी क्रेडिट ट्रांसफर के जरिए किसी भी शिक्षा पद्धति में दाखिला पाना आसान होगा।
क्रेडिट सिस्टम क्या है?
जानकारी के मुताबिक ये विकसित देशों की शिक्षा व्यवस्था में प्रचलित है। इससे ये पता चलता है कि पढ़ाई या सीखने के दौरान छात्र के पास कितना वर्कलोड था, भले ही उसने कोई भी अकादमिक विषय पढ़ा हो, कोई कुशलता हासिल की हो या गैर-अकादमिक गतिविधियों में शामिल हुआ हो। साथ ही यदि ये नियम इसी सत्र से लागू होता है तो, उसका ब्योरा भी साझा किया है। इसके तहत कक्षा 9-10 के दो भाषा विषयों सहित पांच विषयों में हर विषय के लिए 7-7 क्रेडिट, फिजिकल एजुकेशन के 2 क्रेडिट और आर्ट एजुकेशन के लिए एक क्रेडिट यानी कुल 40 क्रेडिट मिलेंगे। इसी तरह, कक्षा 11-12 के छह विषयों में से भाषा विषयों के लिए 6-6 क्रेडिट और अन्य विषयों के लिए 7-7 क्रेडिट यानी कुल 40 क्रेडिट मिलेंगे।
अब दो बार होंगे बोर्ड परीक्षा की तैयारी
कक्षा 3 से 6 तक और कक्षा 9 व 11 के लिए NCERT की नई किताबें, नए सत्र 2024-25 के शुरू होने के पहले जारी करने की तैयारियां हैं। CBSE 10वीं-12वीं कक्षा में सेमेस्टर सिस्टम के साथ दो बार बोर्ड परीक्षा करवा सकता है। नेशनल क्रेडिट फ्रेमवर्क के अनुसार 10वीं पास छात्र को क्रेडिट लेवल-3 और 12वीं पास छात्र को क्रेडिट लेवल-4 कहा जाएगा। ग्रेजुएट को लेवल-6, पोस्ट ग्रेजुएट को लेवल-7 और पीएचडी को लेवल-8 माना जाता है। CBSE के अनुसार कक्षा 9 व 10 और कक्षा 11 व 12 के छात्रों के लिए अगले सत्र से मौजूदा 5-5 विषयों के स्थान पर क्रमश: 10 व 6 विषय अनिवार्य होंगे।
10th में दो की जगह अब तीन लैंग्वेज पढ़ाई जाएंगी
केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने हाईस्कूल और हायर सेकेंडरी के लिए एजुकेशन स्ट्रक्चर में बदलाव करने का प्रस्ताव दिया है। इसके तहत क्लास 10th में दो की जगह अब तीन लैंग्वेज पढ़ाई जाएंगी। इनमें कम से कम दो नेटिव लैंग्वेज (जैसे हिंदी, मराठी) शामिल होंगी। बोर्ड ने अभी इस प्रस्ताव को HRD मिनिस्टरी को भेजा है। वहां से स्वीकृति मिलने के बाद ही इसे लागू किया जा सकेगा।
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Ms. Pooja, |