व्‍यवहार में ही नहीं, सोच में भी हो स्‍वच्‍छता : प्रो. संजय द्विवेदी

Cleanliness should be not only in behavior but also in thinking Prof. Sanjay Dwivedi 1

भारतीय जन संचार संस्‍थान (आईआईएमसी) में साेमवार को स्‍वच्‍छता पखवाड़े का शुभारंभ करते हुए महानिदेशक प्रो. संजय द्विवेदी ने कहा कि स्वस्थ जीवन के लिए स्वच्छता का विशेष महत्व है। स्वच्छता अपनाने से व्यक्ति रोगमुक्त रहता है और एक स्वस्थ राष्ट्र के निर्माण में अपना महत्वपूर्ण योगदान देता है। प्रत्येक व्यक्ति को जीवन में स्वच्छता अपनानी चाहिए और अन्य लोगों को भी इसके लिए प्रेरित करना चाहिए। इस अवसर पर महानिदेशक ने संकाय सदस्यों, अधिकारियों एवं कर्मचारियों को स्वच्छता की शपथ भी दिलाई गई।

16 से 31 जनवरी के बीच आयोजित होने वाले स्वच्छता पखवाड़े का शुभारंभ करते हुए प्रो. द्विवेदी ने कहा कि स्‍वच्‍छता हमारे जीवन में सुख, शांति और सफलता लेकर आती है। हमारा कर्तव्‍य और दायित्‍व है कि हम अपने आसपास अधिक से अधिक स्‍वच्‍छता बनाए रखें। प्रो. द्विवेदी ने कहा कि यह स्‍वच्‍छता, हमारे व्‍यवहार में ही नहीं, बल्कि हमारी सोच में भी प्रदर्शित होनी चाहिए। जिस प्रकार हम अपने शरीर की स्‍वच्‍छता पर ध्‍यान देते हैं, उतना ही हमें अपने परिवेश की स्‍वच्‍छता पर भी ध्‍यान देना चाहिए। इससे हमारा मन प्रफुल्लित रहेगा और हमारे अंदर सकारात्‍मक ऊर्जा का संचार होगा।

प्रो. द्विवेदी के अनुसार स्वच्छ भारत अभियान में हासिल हमारी सफलताएं, हमारी पद्धतियां और हमारी व्यवस्थाएं आज पूरे विश्व के लिए प्रेरणादायक हैं। भारत अपनी नई योजनाओं और पर्यावरण के लिए प्रतिबद्धता के माध्यम से दुनिया को कई चुनौतियों से लड़ने में मदद कर रहा है। आज हमारी पीढ़ी के सामने यह अवसर है कि हम अगली पीढ़ियों के लिए एक पूर्णतः स्वच्छ भारत का निर्माण करें। ‘स्वच्छ भारत’ की नींव पर ही ‘स्वस्थ भारत’ और ‘समृद्ध भारत’ का निर्माण होगा।

आईआईएमसी के महानिदेशक ने कहा कि महात्मा गांधी के स्वच्छता मिशन के पीछे उनकी व्यापक सोच थी। इसी से प्रेरणा लेते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वच्छता के साथ ही पोषण पर भी समान रूप से जोर दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब व्यक्ति गंदगी को स्वीकार नहीं करता और उसे साफ करने के लिए प्रयत्न करता है, तो उसकी चेतना भी चलायमान हो जाती है।

इस मौके पर आईआईएमसी के महानिदेशक ने संस्थान के विभिन्‍न विभागों का दौरा किया एवं स्वच्छता संबंधी आवश्‍यक दिशानिर्देश दिए।
कार्यक्रम में प्रो. शाश्वती गोस्वामी, प्रो. वीरेंद्र कुमार भारती, प्रो. प्रमोद कुमार, डॉ. पवन कौंडल, डॉ. मीता उज्जैन, डॉ. रचना शर्मा, डॉ. प्रतिभा शर्मा, ऋतेश पाठक एवं डीएस नेगी उपस्थित रहे।

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