New Delhi: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को लोकसभा में आयकर विधेयक, 2025 पेश किया और अध्यक्ष ओम बिरला से इसे सदन की प्रवर समिति को भेजने का आग्रह किया। विपक्षी सदस्यों ने विधेयक को प्रस्तुत करने के दौरान इसका विरोध किया, लेकिन सदन ने इसे प्रस्तुत करने के लिए ध्वनिमत से प्रस्ताव पारित कर दिया।
इसमे है 535 धाराएं
आयकर कानूनों को सरल बनाने के लिए नया कानून बनाने का एलान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक फरवरी 2025 के अपने बजट भाषण में किया था। इस विधेयक को केंद्रीय कैबिनेट की भी मंजूरी मिल चुकी है। लोकसभा में पेश होने वाला नए आयकर विधेयक में 536 धाराएं है। इसमें 23 अध्याय है और यह 622 पन्नों का है। इस विधेयक के पारित होने के बाद नया आयकर कानून अधिक व्यवस्थित और वर्तमान कानून की तुलना में सरल होगा।
अखिर क्यों बनाया गया यह बिल?
नए इनकम टैक्स बिल का मकसद कानून को सरल और स्पष्ट बनाना है। इस नए बिल से लगभग 3 लाख शब्द कम किए गए हैं। इससे कानून अधिक सुगम और समझने में आसान होगा। साथ ही, बेहतर अनुपालन सुनिश्चित करने और टैक्स सिस्टम को पारदर्शी बनाने में मदद मिलेगी।
आयकर कानूनों को समझने के लिए दिया जाएगा प्रयाप्त समय
नए आयकर विधेयक को लोकसभा में पेश किए जाने के बाद, इसे समीक्षा के लिए सेलेक्ट कमेटी को भेज दिया गया। एक बार यह कमेटी अपनी अंतिम रिपोर्ट प्रस्तुत कर देती है, तो संसद बिल को पारित करने के लिए उस पर विचार करेगी। सरकार वित्तीय वर्ष 2026-27 से ही नया आयकर अधिनियम लाने की कोशिश कर रही है। सरकार सभी स्टेकहोल्डर्स जैसे करदाताओं, कर विशेषज्ञों और आम नागरिकों को नए कर बिल को समझने और नए आयकर कानूनों के लिए अच्छी तरह से तैयार होने के लिए पर्याप्त समय देगी।
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